बॉलीवुड डेस्क. कोरोना के कहर के चलते पूरे देश में सिनेमाघर बंद हो चुके हैं। यह दौर काफी लंबा चलने वाला है। ऐसे में सिनेमाघर संचालकों इस मौके का अपने तरीके से भुनाना शुरू किया है। वह अपने-अपने सिनेमाघरों को रिनोवेट करवा रहे हैं। इसके पीछे बड़ी वजह यह भी है कि जैसे ही कोरोना का असर सामान्य होगा वैसे ही फिल्मों की रिलीज की लंबी लाइन लगेगी। ऐसे में सिनेमाघर संचालक पूरी तरह तैयार रहना चाहते हैं। मप्र, राजस्थान, बिहार समेत कई राज्यों में यह रेनोवेशन किया जा रहा है।
हालात सामान्य होने पर हो सकता है सुनहरा मौका
ट्रेड पंडित राज बंसल कहते हैं, "सिनेमाघर संचालकों को लग रहा है कि आगे हालात नॉर्मल होने पर सिनेमाघरों के पास सुनहरा मौका होगा कि उनके थिएटरों में लाइन लगी रहे। अकेले राजस्थान की बात करूं तो यहां के सात सिंगल स्क्रीन वाले सिनेमा घर अपने यहां रिनोवेशन करवा रहे हैं। एंटरटेनमेंट पैराडाइज को मिराज सिनेमा वालों ने टेकओवर कर लिया है और युद्ध स्तर पर रिनोवेशन का काम करवा रहे हैं। आमतौर पर क्वार्टरली मंथ के हिसाब से सिनेमाघरों में साफ-सफाई और रिनोवेशन का काम होता है, लेकिन कोरोना वायरस के चलते थिएटर्स बंद है और इनके मालिकों के पास काफी वक्त है। ऐसे में काफी कुछ दुरुस्त किया जा रहा है। दरअसल देखा जाए तो इस काम से वह एक तीर से दो निशाने कर रहे हैं एक तो रिनोवेशन साफ सफाई हो ही रही है दूसरा थिएटर बंद होने के बावजूद उन्हें अपने स्टाफ को वेतन तो देने ही थे तो उनसे अलग तरह का काम करवाया जा रहा है।''
तसल्ली से हो रहा सारा काम
दिल्ली में डिलाइट सिनेमा के संचालक आरके मेहरोत्रा बताते हैं, "दिल्ली के सिनेमाघरों से भी यह सुनने को मिल रहा है। उन्होंने कहा कि पिछले चार-पांच दिनों में पेस्ट कंट्रोल का काम अलग-अलग सिनेमाघरों में हो गया है। सिनेमाघर की सीटों को सैनिटाइज किया गया है। चेयर और कारपेट को ड्राई क्लीन करवा लिया गया है। यह सब रूटीन के काम होते हैं। हर 3 महीने में यह सब होता ही है, पर अभी काफी टाइम मिल रहा है तो हम लोग तसल्ली से और ज्यादा रेनोवेशन कर पा रहे हैं। यह काम सिर्फ सिंगल स्क्रीन ही नहीं मल्टीप्लेक्सेस में भी हो रहा है।''
डिजिटल प्लेटफॉर्म को इस वक्त सबसे ज्यादा फायदा
मुंबई में गेटी गैलेक्सी और मराठा मंदिर के प्रमुख मनोज देसाई बताते हैं, "यह तो तय है कि मौजूदा सिचुएशन का सबसे बड़ा फायदा वेब सीरीज वालों को हो रहा है या डिजिटल प्लेटफॉर्म वालों को हो रहा है। सिनेमाघर बंद हैं। खासतौर पर मुंबई में हालात बुरे हैं, जबकि मुंबई सिनेमाघरों की सबसे बड़ी टेरिटरी है। बंद होने की वजह से हम लोग मरम्मत तो करवा ही रहे हैं। हमारी तैयारी है कि जब हालात सामान्य नहीं तो फिल्मों को सिनेमाघरों की तरफ से किसी किस्म की कोताही ना मिले।''
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